जिलाधिकारी की अध्यक्षता में स्वामित्व योजना, राजस्व कार्यो, लंबित कोर्ट केस एवं अवमानना वाद, पी.एम. किसान सम्मान निधि योजना तथा आई.जी.आर.एस. के संबंध में समीक्षा बैठक संपन्न

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समस्त उप जिलाधिकारियों को वसूली कार्यों एवं लंबित मामलों के निस्तारण में तेजी लाने के दिये निर्देश

निर्मित नए अस्थाई गौशालाओं में निराश्रित गोवंशो को रखने में लापरवाही पर मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी से मांगा स्पष्टीकरण

मऊ – आज जिलाधिकारी श्री अरुण कुमार की अध्यक्षता में स्वामित्व योजना, राजस्व कार्यो, लंबित कोर्ट केस एवं अवमानना वाद, पी.एम. किसान सम्मान निधि योजना तथा आई.जी.आर.एस. के संबंध में समीक्षा बैठक संपन्न हुई।
जनपद में प्रधानमंत्री किसान सम्मान योजना के तहत किसानों के सत्यापन कार्य की समीक्षा के दौरान उपनिदेशक कृषि ने बताया कि जनपद में किसानों के सत्यापन के उपरांत फीडिंग का कार्य 51% पूर्ण हो चुका है। वर्तमान में जनपद मऊ का प्रदेश में पांचवा स्थान है। जिलाधिकारी ने समस्त उप जिलाधिकारियों को फीडिंग कार्य में और तेजी लाने के निर्देश दिए जिससे इस कार्य को यथाशीघ्र पूर्ण किया जा सके।स्वामित्व योजना की प्रगति की जानकारी तहसील वार लेते हुए जिलाधिकारी ने धीमी प्रगति के जिम्मेदार संबंधित लेखपालों के खिलाफ कार्रवाई करने एवं स्वामित्व योजना की नियमित समीक्षा करने के भी निर्देश समस्त उप जिला अधिकारियों को दिए।अति वृहद गौशालाओं हेत भूमि चिन्हांकन कार्य अभी तक ना हो पाने पर उन्होंने समस्त उप जिलाधिकारियों को इस कार्य को यथाशीघ्र संपन्न करने को कहा। इस दौरान प्रत्येक ब्लॉक में बन रहे अस्थाई गौशालाओं में निराश्रित गोवंशो को रखने में लापरवाही बरतने पर जिलाधिकारी ने मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी से स्पष्टीकरण देने के निर्देश दिए।हेल्थ एंड वैलनेस सेंटर की स्थापना हेतु भूमि की उपलब्धता की जानकारी लेते हुए जिलाधिकारी ने मुख्य चिकित्सा अधिकारी को संबंधित क्षेत्रों के उप जिलाधिकारियों से लगातार संपर्क बना कर इस कार्य को यथाशीघ्र पूर्ण करने के निर्देश दिए। जनपद के 10 बड़े बकायेदारों से वसूली की चर्चा के दौरान अपर जिला अधिकारी ने बताया कि इस सफ्ताह जनपद के 10 बड़े बकायेदारों से कुल 23 लाख 15 हजार रुपए की वसूली की गई। इस संबंध में जिलाधिकारी ने बकायेदारों पर लगातार दबाव बनाते हुए वसूली कार्यों में और तेजी लाने के निर्देश दिए। मोटर दुर्घटना क्लेम एवम् भरण पोषण से संबंधित वसूली तथा माननीय न्यायालय द्वारा जारी वसूली में धीमी प्रगति पर जिलाधिकारी ने संबंधित अधिकारियों को इसमें तेजी लाने के निर्देश दिए। वरासत कार्यों की चर्चा के दौरान मुख्य राजस्व अधिकारी ने बताया कि ज्यादातर मामले लेखपाल स्तर पर समय सीमा के उपरांत भी लंबित हैं। इस संबंध में जिलाधिकारी ने समस्त उप जिलाधिकारियों को साप्ताहिक बैठक कर नियमित समीक्षा करने एवं वरासत मामलों का समय सीमा के अंदर निस्तारण करने के निर्देश दिए।
लंबित कोर्ट केस एवं अवमानना वाद की समीक्षा के दौरान सिटी मजिस्ट्रेट ने बताया कि कुल 9 प्रकरणों में पांच प्रत्यावेदन का निस्तारण किया जा चुका है, 3 प्रकरण में शपथ पत्र तैयार कर दाखिल किया जाना है एवम् 1प्रकरण में इंस्ट्रक्शन फाइल करना है। आई.जी.आर.एस. के तहत शिकायतों के निस्तारण की स्थिति की समीक्षा के दौरान कोई भी डिफाल्टर केस नहीं मिला।
बैठक के दौरान जिलाधिकारी ने जितने भी लंबित प्रकरण हैं, उनमें यथाशीघ्र कार्रवाई करने तथा वसूली कार्यों में और तेजी लाने के कड़े निर्देश दिए संबंधित अधिकारियों को दिए।
इस दौरान अपर जिला अधिकारी श्री भानु प्रताप सिंह, मुख्य राजस्व अधिकारी, नगर मजिस्ट्रेट डी0पी0 सिंह, उपनिदेशक कृषि एस0पी0 श्रीवास्तव, प्रभारी मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर जी.सी. पाठक मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी एम. प्रसाद, समस्त उपजिलाधिकारी एवं ई डिस्ट्रिक्ट मैनेजर आशीष मिश्रा उपस्थित थे।